Lyrics Nasha - Sangeeta Pant
नशा
है
जाम
का
या
मेरी
आग
का
ले
आके
पी
ले
जान-ए-जाँ
ये
पल
फिर
मिलेंगे
कहाँ
नशा
है
जाम
का
या
मेरी
आग
का
ले
आके
पी
ले
जान-ए-जाँ
ये
पल
फिर
मिलेंगे
कहाँ
नशा
है
जाम
का...
जादू
है
ये
समाँ,
कह
रही
है
शमा
जल
के
देख
परवाने
मस्ती
में
डोलूँ
मैं
तितली
सी
यहाँ-वहाँ
पकड़
के
देख
दीवाने
पल
दो
पल
की
ज़िंदगानी
ख़त्म
हो
ये
कब
कहानी
बात
मेरी
मान
ले,
तू
आजा
अब
ज़रा
नशा
है
जाम
का
या
मेरी
आग
का
ले
आके
पी
ले
जान-ए-जाँ
ये
पल
फिर
मिलेंगे
कहाँ
नशा
है
जाम
का...
बाँहों
में
आजा
तू,
साँसें
महका
जा
तू
रंग
के
देख
मस्ताने
चिंगारी
भड़के
है
आग
को
बुझा
जा
तू
वो
ना
सुनूँगी
अब
बहाने
पल
दो
पल
की
ज़िंदगानी
ख़त्म
हो
ये
कब
कहानी
बात
मेरी
मान
ले,
तू
आजा
अब
ज़रा
नशा
है
जाम
का
या
मेरी
आग
का
ले
आके
पी
ले
जान-ए-जाँ
ये
पल
फिर
मिलेंगे
कहाँ
नशा
है
जाम
का
या
मेरी
आग
का
ले
आके
पी
ले
जान-ए-जाँ
ये
पल
फिर
मिलेंगे
कहाँ
नशा
है
जाम
का...
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