Anup Jalota - Do Din Ka Jag Mein Mela текст песни

Текст песни Do Din Ka Jag Mein Mela - Anup Jalota



चलती चक्की देख के दिया कबीरा रो
दो पाटन के बीच में
साबुत बचा ना कोई
दो दिन का जग में मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग में मेला सब
चला चली का खेला
कोई चला गया कोई जावे
कोई गठरी बांध सी भावे
कोई चला गया कोई जावे
कोई गठरी बांध सी भावे
कोई खड़ा तैयार अकेला रे
कोई खड़ा तैयार अकेला
चला चली का खेला रे खेला रे खेला रे
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे खेला सब
चला चली का खेला
मात-पिता सूत नारी भाई
अंत सहायक नाही
मात-पिता सूत नारी भाई
अंत सहायक नाही
फिर क्यो भरता पाप का ठेला रे
फिर क्यो भरता पाप का ठेला
चला चली का खेला रे खेला रे खेला रे
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
ये तो है नश्वर संसारा
भजन को करले ईश का प्यारा
ये तो है नश्वर संसारा
भजन को करले ईश का प्यारा
ब्रह्मानंद कहे सुन चेला रे
ब्रह्मानंद कहे सुन चेला
चला चली का खेला रे खेला रे खेला रे
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली का खेला
दो दिन का जग मे मेला सब
चला चली...



Авторы: anup jalota, indian traditional song


Anup Jalota - Bhajans
Альбом Bhajans
дата релиза
01-01-1982




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