Lyrics Kabhi Kabhi Bhagwan Ko Bhi - Anup Jalota
कभी
कभी
भगवान
को
भी
भक्तों
से
काम
पड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
कभी
कभी
भगवान
को
भी
भक्तों
से
काम
पड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
अवध
छोड़
प्रभु
वन
को
धाये
सिया
राम
लखन
गंगा
तट
आये
केवट
मन
ही
मन
हर्षाये
घर
बैठे
प्रभु
दर्शन
पाए
हाथ
जोड़
कर
प्रभु
के
आगे
केवट
मगन
खड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
प्रभु
बोले
तुम
नाव
चलाओ
पार
हमे
केवट
पहुँचाओ
केवट
कहता
सुनो
हमारी
चरण
धुल
की
माया
भारी
मैं
गरीब
नैया
मेरी
नारी
ना
होए
पड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
केवट
दौड़
के
जल
भर
ले
आया
चरण
धोये
चरणामृत
पाया
वेद
ग्रन्थ
जिन
के
यश
गाये
केवट
उनको
नाव
चढ़ाए
बरसे
फूल
गगन
से
ऐसे
भक्त
के
भाग्य
बड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
चली
नाव
गंगा
की
धारा
सिया
राम
लखन
को
पार
उतारा
प्रभु
देने
लगे
नाव
उतराई
केवट
कहे
नहीं
रघुराई
पार
किया
मैंने
तुमको
अब
तू
मोहे
पार
करे
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
कभी
कभी
भगवान
को
भी
भक्तों
से
काम
पड़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
की
नाव
चढ़े
जाना
था
गंगा
पार
प्रभु
केवट
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