Lyrics Tu Har Lamha (From "Khamoshiyan") - Bobby-Imran feat. ARIJIT SINGH
वाक़िफ़
तो
हुए
तेरे
दिल
की
बात
से
छुपाया
जिसे
तूने
क़ायनात
से
वाक़िफ़
तो
हुए
तेरे
उस
ख्याल
से
छुपाया
जिसे
तूने
अपने
आप
से
कहीं
ना
कहीं,
तेरी
आँखें
तेरी
बातें
पढ़
रहे
हैं
हम
कहीं
ना
कहीं,
तेरे
दिल
में
धड़कनों
में
ढल
रहे
हैं
हम
तू
हर
लम्हा
था
मुझसे
जुड़ा
चाहे
दूर
था
मैं,
या
पास
रहा
उस
दिन
तू,
हाँ,
उदास
रहे
तुझे
जिस
दिन
हम
ना
दिखें,
ना
मिलें
उस
दिन
तू
चुप-चाप
रहे
तुझे
जिस
दिन
कुछ
ना
कहें,
ना
सुने
मैं
हूँ
बन
चुका
जीने
की
इक
वजह
इस
बात
को
खुद
से
तू
ना
छुपा
तू
हर
लम्हा
था
मुझसे
जुड़ा
चाहे
दूर
था
मैं,
या
पास
रहा
लब
से
भले
तू
कुछ
ना
कहे
तेरे
दिल
में
हम
ही
तो
बसें,
या
रहें
साँसें
तेरी
इक़रार
करे
तेरा
हाथ
अगर
छू
लें,
पकड़ें
तेरी
ख्वाहिशें
कर
भी
दे
तू
बयाँ
यही
वक़्त
है
इनके
इज़हार
का
तू
हर
लम्हा
(हर
लम्हा),
था
मुझसे
जुड़ा
(मुझसे
जुड़ा)
चाहे
दूर
था
मैं
(दूर
था
मैं),
या
पास
रहा
(पास
रहा)
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