Текст песни Shri Bhagwati Stotram - Uma Mohan
श्रीभगवतीस्तोत्रम्:
जय
भगवति
देवि
नमो
वरदे
जय
भगवति
देवि
नमो
वरदे
जय
पापविनाशिनि
बहुफलदे
।
जय
शुम्भनिशुम्भकपालधरे
प्रणमामि
तु
देवि
नरार्तिहरे
॥१॥
जय
चन्द्रदिवाकरनेत्रधरे
जय
पावकभूषितवक्त्रवरे
।
जय
भैरवदेहनिलीनपरे
जय
अन्धकदैत्यविशोषकरे
॥२॥
जय
महिषविमर्दिनि
शुलकरे
जय
लोकसमस्तकपापहरे
।
जय
देवि
पितामहविष्णुनते
जय
भास्करशक्रशिरोऽवनते
॥३॥
जय
षण्मुखसायुध
ईशनुते
जय
सागरगामिनि
शम्भुनुते
जय
दुःखदरिद्रविनाशकरे
जय
पुत्रकलत्रविवृद्धिकरे
॥४॥
जय
देवि
समस्तशरीरधरे
जय
नाकविदर्शिनि
दुःखहरे
।
जय
व्याधिविनाशिनि
मोक्षकरे
जय
वाञ्छितदायिनि
सिद्धिवरे
॥५॥
एतद्व्यासकृतं
स्तोत्रं
यः
पठेन्नियतः
शुचि
।
गृहे
वा
शुद्धभावेन
प्रीता
भगवती
सदा
॥६॥
Lyrics
by
Dsg
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