Shafqat Amanat Ali - Yeh Honsla Lyrics

Lyrics Yeh Honsla - Shafqat Amanat Ali



ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके
ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके
मंज़िल मुश्किल तो क्या
धुंदला साहिल तो क्या
तन्हा ये दिल तो क्या
राह पे कांटे बिखरे अगर
उसपे तो फिर भी चलना ही है
शाम छुपाले सूरज मगर
रात को दिन ढालना ही है
रुत ये टल जाएगी
हिम्मत रंग लाएगी
सुबह फिर आएगी
ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके
ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके
होगी हमें तो रेहमत अदा
धुप कटेगी साये ताले
अपनी खुदा से है ये दुआ
मंज़िल लगाले हमको गले
ज़ुर्रत १०० बार रहे
ऊंचा इकरार रहे
ज़िंदा हर प्यार रहे
ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके
ये हौसला कैसे झुके
ये आरज़ू कैसे रुके



Writer(s): Husain Mir Ali, Sulaiman Salim


Shafqat Amanat Ali - Compilation




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